आए दिन हम अखबारों में बच्चों को स्कूलों से मिल रही सजा के बारे में सुनते हैं. कुछ सजा तो ऐसी होती है जो न केवल शारीरिक बल्कि मानसिक रूप से भी बच्चों को ठेस पहुंचाती है. यहां सवाल सिर्फ मानसिक या शारीरिक रूप से ठेस पहुंचाने का नहीं बल्कि हमेशा-हमेशा के लिए किसी हंसते-खेलते बच्चे को दिव्यांग बना देने से है. ऐसी ही एक खबर चीन से सामने आई है.
क्या है पूरी खबर
चीन में एक 14 वर्षीय छात्रा, स्कूल में 150 उठक-बैठक करने के बाद हमेशा के लिए अपंग हो गई. ‘द सन’ की एक रिपोर्ट के अनुसार यह खबऱ चीन के सिचुआन क्षेत्र की है. वहां के सीनियर हाई स्कूल की है जो दक्षिणी-पश्चिमी चीन में स्थित है. छात्रा पर ये आरोप था कि वो छिपकर खाने के लिए कुछ नाश्ता ले जा रही थी, जिसके बाद स्कूल के एक शिक्षक ने उसे हॉस्टल में पकड़ लिया था. इसके बाद उसे 300 उठक-बैठक करने के लिए कहा गया. एक शिक्षक म्यु ने दुसरे शिक्षक को वहां खड़े रहकर ये देखने के लिए कहा और वे स्वयं वहां से चले गए.
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छात्रा के मना करने पर भी कि ये नाश्ता उसका नहीं है और उसकी अप्रैल 2020 में ही पैर की चोट ठीक हुई है, इसके बावजूद भी ल्यु नामक शिक्षक ने छात्रा पर दबाव ड़ाला और इस पर रोक नहीं लगाई. अंत में 150 उठक-बैठक के बाद छात्रा को तुरंत अस्पताल ले जाया गया. सूत्रों के अनुसार छात्रा की मां जिनका नाम निजी मीडिया में झाउ बताया जा रहा है, उन्होंने बताया कि ये घटना 10 जून रात 10 बजे की है.
छात्रा की हालत नहीं है ठीक
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लुझोउ और शेंग्डु शहर के अस्पताल में छात्रा को ले जाया गया जहां उसकी सर्जरी हुई. अंत में डॉक्टर ने बताया कि छात्रा को अब हमेशा के लिए बैसाखी लेकर चलना पड़ेगा. इस घटना के बाद ये भी कहा जा रहा है कि छात्रा अब डिप्रेशन से पीड़ित है.
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रिपोर्ट के मुताबिक स्कूल ने छात्रा को 13 लाख रुपये का मुआवज़ा देने की बात भी कही, लेकिन छात्रा के मां-बाप ने लेने से इनकार कर दिया. छात्रावास के शिक्षकों को 14 जुलाई को ही निकाल दिया गया है और अथॉरिटी ने कहा कि वे अभी मामले की जांच कर रहे हैं.
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